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पूर्व क्रिकेटर ‘सचिन तेंदुलकर’ बने EC के नेशनल आइकन

पूर्व क्रिकेटर ‘सचिन तेंदुलकर’ बने EC के नेशनल आइकन


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2023-08-24 : हाल ही में, निर्वाचन आयोग (EC) ने मतदान के प्रति शहरी और युवा मतदाताओं की उदासीनता के बीच अपने जमाने के दिग्गज क्रिकेट खिलाड़ी रहे सचिन तेंदुलकर को चुनावों में मतदाताओं की अधिक भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए आयोग का ‘नेशनल आइकन’ नियुक्त किया है। इस प्रकार अब तीन साल के समझौते के तहत तेंदुलकर मतदाताओं के बीच मतदान को लेकर जागरूकता फैलाएंगे। आपको बता दे की इससे पहले आमिर खान, एमएस धोनी और पंकज त्रिपाठी जैसे दिग्गज भी आयोग के नेशनल आइकॉन रह चुके है।

मतदान करना क्यों है जरूरी?



जैसा की हम सब जानते है की चुनाव में नागरिकों द्वारा किये गए गुप्त मतदान की गिनती की जाती है, जिसे मतगणना कहते है। यहाँ जिस प्रतिनिधि को अधिक मत प्राप्त होते है, उसे चुनाव आयोग के द्वारा विजयी घोषित किया जाता है। यदि आपने मतदान नहीं किया तो संभावना होती है, की आयोग्य प्रतिनिधि जीत कर संसद या विधान सभा पहुंच जाता है, जहाँ पर वह गलत कानून का समर्थन देकर कानून को पास करवा देता है।

जिससे मतदान करने वाला व्यक्ति और मतदान न करने वाला व्यक्ति दोनों ही प्रभावित होते है। इसलिए देश और राज्य के प्रशासन को सही हाथों में देने के लिए मतदान करना आपके लिए अति आवश्यक है।

कौन दे सकता है वोट?



भारत के संविधान के मुताबिक, जो भारत का नागरिक है और जिसकी उम्र 18 साल या उससे ज्यादा है। बिना किसी भेदभाव या सिटीजनशिप एक्ट के तहत इन लोगों को वोटिंग अधिकार दिया जाता है। इसके अलावा जिन एनआरआई (NRI) के पास इंडियन पासपोर्ट होता है, उन्हें भी वोट देने का अधिकार होता है। 18 साल का होने पर व्यक्ति को मताधिकार प्राप्त हो जाता है।

इसके बाद वह सभी प्रकार के लोकतांत्रिक चुनावों में वोट डाल सकता है। सभी मतदान केंद्र वाले क्षेत्रों में हर साल उन सभी पात्र मतदाताओं की पहचान की जाती है, जिनकी उम्र एक जनवरी को 18 वर्ष हो चुकी होगी।

अपील :



EduRelation की आपसे यहीं अपील है की आप कभी भी अपना बहुमूल्य वोट धर्म, जाति और समुदाय के नाम पर ना दें। वैसे तो सुप्रीम कोर्ट प्रत्याशी या उसके समर्थकों के धर्म, जाति, समुदाय, भाषा के नाम पर वोट मांगना गैरकानूनी समझता है। क्योंकि चुनाव एक धर्मनिरपेक्ष पद्धति है। इस आधार पर वोट मांगना संविधान की भावना के खिलाफ है। इसलिए लोकतंत्र को बचाने की कोशिश में अपना कर्तव्य हमेशा याद रखें।

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